मैया के दर पे नज़ारा मिलता है mata ji bhajan lyrics
आओ मैं तुम्हे एक बात बता रहा हूँ।
जहाँ तक ये मेरी निगाह जा रही है,
मेरी माँ की रेहमत नज़र आ रही है,
ना लौटा है आज तक कोई दर से खाली,
मुरादों से झोली भरी जा रही है।
मैया के दर पे नज़ारा मिलता है,
ग़म के मारों को सहारा मिलता है।
मैया ने बदली है सबकी तक़दीरें
सबकी किश्ती को किनारा मिलता है
मैया के दर पे नज़ारा मिलता है,
ग़म के मारों को सहारा मिलता है।
आज माँ के जागरण की रात है आई
आज खुशियों की हमें सौगात है आई
है बड़ी प्यारी बड़ी न्यारी बड़ी पावन
माँ के दर्शन के लिए मैं भेंट हूँ लाइ
सारे भक्तों को सहारा मिलता है
ग़म के मारों को सहारा मिलता है
मैया के दर पे नज़ारा मिलता है,
ग़म के मारों को सहारा मिलता है।
भर दे दामन में सुख सागर के मोती
तू ही रचना में जगा मेरे ज्ञान की ज्योति
तेरी कला की कलियों से महके जीवन मेरा
अमृत की वर्षा सारे ही पापों को धोती
माँ की चौखट से नज़ारा मिलता है
ग़म के मारों को सहारा मिलता है
मैया के दर पे नज़ारा मिलता है,
ग़म के मारों को सहारा मिलता है।
बेसहारों को सहारा मिल ही जाएगा
माँ की ममता का सहारा मिल ही जाएगा
कमल किशोर जो श्रद्धा से दर पे जायेगा
रेहमत बरसेगी कवी का दिल भी गायेगा
सबकी किस्मत का सितारा खिलता है
ग़म के मारों को सहारा मिलता है
मैया के दर पे नज़ारा मिलता है,
ग़म के मारों को सहारा मिलता है।
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